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हरियाणा: पूर्व सैनिकों ने नौ विधानसभा सीटों पर मांगी राजनीतिक हिस्सेदारी

एक्स नेवल वेलफेयर एसोसिएशन ने राजनीति में हिस्सेदारी लेने का एलान किया है। नौ सेना दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने कहा कि पूर्व सैनिकों को राजनीति में उनका हिस्सा मिलना चाहिए। हरियाणा में जो भी राजनीतिक दल संगठन के लोगों को टिकट देगा उसका समर्थन किया जाएगा। कम से कम 9 विधानसभा सीट मिलनी चाहिए। पूर्व सैनिक अगर राजनीति में उतरेंगे तो अनुशासन, ईमानदारी के साथ काम करते हुए समाज का भला करेंगे। पूर्व सैनिकों ने कहा कि अग्निवीर योजना सेना के लिए अच्छा फैसला नहीं है।                          

एसोसिएशन के प्रदेशाध्यक्ष सुभाष कुंडू, सचिव आरके चहल, वरिष्ठ उपप्रधान जेपी यादव ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि सेना में 10 प्रतिशत हिस्सेदारी हरियाणा के लोगों की है। सेना से रिटायरमेंट के उनको अच्छे अवसर नहीं दिए जाते।          

पूर्व सैनिकों को सेना से लौटने के बाद सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी तक सीमित कर दिया जाता है। पूर्व सैनिकों के सम्मान के नाम पर उनके अधिकारों को हड़प लिया जाता है। वन रेंक वन पेंशन को लागू तो किया गया, लेकिन इसमें कुछ त्रुटियां हैं, जिनको दूर करना चाहिए।              

बोर्ड, निगम, कार्पोरेशन, यूनिवर्सिटी सहित अन्य विभागों में पूर्व सैनिकों की नौकरी का आरक्षण होना चाहिए। पूर्व सैनिकों के साथ हमेशा राजनीति होती रही है। अब पूर्व सैनिक राजनीति में आकर अपने हक के लिए लड़ेंगे। विधानसभा में अपनी आवाज बुलंद करेंगे। पूर्व सैनिकों को 90 में से 9 सीट मिलनी चाहिए, जो भी दल पूर्व सैनिकों को टिकट प्रदान करेगा उसका साथ देंगे।  

अग्निवीर योजना खतरनाक हो सकती है साबित

एसोसिएशन के सचिव आरके चहल ने कहा कि अग्निवीर योजना सेना के लिए खतरनाक साबित हो सकती है। महज चार साल के लिए नौकरी सैनिकों के मनोबल को गिराएगी। यूनिट के अंदर से रिपोर्ट मिल रही है कि अग्निवीरों में अनुशासनहीनता आ रही है। चार साल में एक साल ट्रेनिंग में चला जाएगा। तीन साल की नौकरी के बाद अग्निवीर को वापस घर भेज दिया जाएगा। उसे पूर्व सैनिक का कोई लाभ नहीं मिलेगा। भविष्य सुरक्षित न होने पर युवा गलत रास्ते पर जाने की आशंका रहेगी।

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