जानें रांची हिंसा मामले में हाई कोर्ट ने क्या कहा…
झारखंड हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस डा. रवि रंजन व जस्टिस एसएन प्रसाद की खंडपीठ में रांची हिंसा की एनआइए जांच को लेकर दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई हुई। सुनवाई के बाद अदालत ने मामले में राज्य के गृह सचिव और डीजीपी को तलब किया है। अदालत ने मौखिक रूप से कहा कि मामले की जांच में विरोधाभास है। ऐसा प्रतीत होता है कि सरकार ही सही जांच नहीं चाहती है क्योंकि इससे जुड़े कुछ मामले की सीआइडी जांच रही है तो कुछ केस की पुलिस। सीआइडी और पुलिस की जांच रिपोर्ट में अंतर आने पर जांच को बंद कर दिया जाएगा।
अदालत ने कहा कि सरकार इस मामले की जांच में बेवजह देरी कर रही है। अगर सरकार मामले की सही जांच नहीं करा पा रही है तो क्यों नहीं इसकी जांच सीबीआइ को सौंप दी जाए। मामले में अगली सुनवाई 15 दिसंबर होगी। इस दिन गृह सचिव और डीजीपी सशरीर कोर्ट में हाजिर होंगे। सुनवाई के दौरान प्रार्थी के अधिवक्ता विजय रंजन सिन्हा ने अदालत को बताया कि सरकार की ओर से हिंसा से संबंधित दस साल में दर्ज केस की जानकारी दी गई है। इसमें कहा गया है कि दो सौ से ज्यादा मामलों की जांच सीआइडी कर रही है। इसमें इसका कहीं जिक्र नहीं किया गया है कि आखिर कितने मामलों का निपटारा हो गया है और कितने मामले लंबित है।