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सिख विरोध दंगे में एसआईटी ने अर्मापुर थाना क्षेत्र से दो और आरोपितों को किया गिरफ्तार..

Anti Sikh Riots Kanpur सिख विरोधी दंगे की जांच कर रही एसआईटी ने दो और आरोपितों को गिरफ्तार किया है। इस तरह अबतक 29 आरोपित गिरफ्तार किए जा चुके हैं। एसआइटी द्वारा दो आरोपितों की गिरफ्तारी अर्मापुर थाना क्षेत्र में हुई है। सिख विरोधी दंगे में 38 साल बाद पीड़ितों को न्याय की उम्मीद जागी है।

क्या था मामला : वर्ष 1984 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या के बाद कानपुर में हुए सिख विरोधी दंगे की जांच एसआइटी ने तीन साल पहले शुरू की थी। जांच पूरी होने के बाद दंगे के 127 मृतकों के परिवारों को इंसाफ मिलने की उम्मीद जागी है। जांच में 14 मुकदमों में गवाह मिल गए हैं और नौ मुकदमों में चार्जशीट लगाई जानी है। एसआइटी को चिह्नित 94 आरोपितों में 74 जिंदा मिले हैं और 20 की मौत हो चुकी है। अबतक 147 गवाहों के बयान लिये गए हैं।

 

अब तक 29 आरोपित जा चुके सलाखों के पीछे : शनिवार को एसआइटी ने दो और आरोपितों को गिरफ्तार किया है। इस तरह अब तक 29 आरोपितों की गिरफ्तारी हुई है। सिख विरोधी दंगे में सभी आरोपित सलाखों के पीछे है।

इनकी हुई गिरफ्तारी

1-ब्रजेश दुबे पुत्र स्व. बीरेंद्र नाथ दुबे निवासी आवास विकास-3 पनकी थाना पनकी उम्र 68 वर्ष

2-राजेंद्र कुमार जायसवाल उर्फ गुड्डू पुत्र स्व. राजाराम जायसवाल बी ब्लाक पनकी थाना पनकी उम्र 60 वर्ष

एसआइटी के डीआइजी बालेंदु भूषण ने बताया कि एसआइटी ने सिख विरोधी दंगा में अब तक निराला नगर, दबौली, के ब्लाक किदवई में हुए हत्याकांडों के आरोपितों की ही गिरफ्तारियां की हैं।

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