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AAPनेता की मौत… हंगामा और पथराव, घूंघट में आईं महिलाओं ने किया उपद्रव, पुलिस कर्मियों को दिखाई चप्पल

आम आदमी पार्टी के नेता कुंज बिहारी की मौत की खबर पर रामपुर नया गांव से हॉस्पिटल के बाहर घूंघट में पहुंचीं महिलाओं ने उपद्रव शुरू कर दिया था। महिला पुलिस कर्मियों ने जब समझाने की कोशिश की तो उन्होंने विरोध करना शुरू कर दिया। दो दरोगा को महिलाओं ने खींचने की कोशिश भी की।गोरखपुर के गोरखनाथ थाना क्षेत्र में तीन दिन पूर्व मारपीट में घायल आम आदमी पार्टी (आप) के नेता कुंज बिहारी निषाद (35) की मंगलवार को पूर्वांह्न 11 बजे इलाज के दौरान राजेंद्रनगर स्थित एक निजी अस्पताल में मौत हो गई। परिजनों-मोहल्लेवालों ने अस्पताल प्रशासन पर इलाज में लापरवाही का आरोप लगाते हुए हंगामा-तोड़फोड़ शुरू कर दी।

गोरखनाथ पुलिस ने बल प्रयोग किया तो भीड़ ने पथराव कर दिया। इसमें गोरखनाथ थाना प्रभारी शशिभूषण राय का सिर फूट गया जबकि तीन दरोगा और पांच स्थानीय लोग घायल हो गए। पुलिस भीड़ को उकसाने वालों को चिह्नित कर उनके खिलाफ कार्रवाई की तैयारी में है। पुलिस ने एक हमलावर सहजनवां के इटार निवासी अर्जुन पांडेय को गिरफ्तार भी कर लिया है।

जानकारी के मुताबिक, गोरखनाथ थाना क्षेत्र के रामपुर नया गांव निवासी कुंज बिहारी निषाद मोहल्ले में ही बिल्डिंग मटेरियल और शटरिंग का कारोबार करते थे। वह राजनीति में भी सक्रिय थे और हाल ही में वार्ड नंबर 14 डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद नगर से आम आदमी पार्टी से पार्षद का चुनाव लड़ चुके थे।

परिजनों के अनुसार, 23 अगस्त को कुंज बिहारी ने अपने साले मल्लू निषाद को लगभग एक लाख रुपये का बकाया वसूलने के लिए भेजा था। जब रुपये नहीं मिले तो अगले दिन कुंज बिहारी खुद उधारी मांगने पहुंचे। आरोप है कि इसी दौरान मोहल्ले के ही अभिषेक पांडेय और उसके साथियों से विवाद हो गया और उन्होंने कुंज बिहारी पर हमला बोल दिया। हमलावरों ने लाठी, रॉड और पटरे से कुंज बिहारी को पीटकर घायल कर दिया।

गंभीर चोट लगने के बाद परिजन उन्हें राजेंद्रनगर स्थित निजी अस्पताल ले गए। वहां एक डॉक्टर ने ऑपरेशन किया। तीन दिनों से उनका इलाज चल रहा था। घायल कुंज बिहारी की तहरीर पर गोरखनाथ पुलिस ने हमलावरों के खिलाफ केस भी दर्ज किया था। इलाज के दौरान मंगलवार पूर्वांह्न 11 बजे उनकी मौत हो गई।

घूंघट में आईं महिलाओं ने किया उपद्रव, पुलिस कर्मियों को दिखाई चप्पल
आम आदमी पार्टी के नेता कुंज बिहारी की मौत की खबर पर रामपुर नया गांव से हॉस्पिटल के बाहर घूंघट में पहुंचीं महिलाओं ने उपद्रव शुरू कर दिया था। महिला पुलिस कर्मियों ने जब समझाने की कोशिश की तो उन्होंने विरोध करना शुरू कर दिया। दो दरोगा को महिलाओं ने खींचने की कोशिश भी की। इसके बाद जबरिया अस्पताल परिसर में घुसने की कोशिश की। इसी बीच भीड़ में मौजूद कुछ महिलाओं ने पुलिस कर्मियों को चप्पल भी दिखाईं। पुलिस कर्मियों ने उनका वीडियो भी बनाकर रख लिया है। इस बीच कुछ ने पुलिस टीम पर पथराव कर दिया।

प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, मंगलवार पूर्वांह्न 11 बजे आप नेता कुंज बिहारी की मौत हो गई। भाई मनोज कुमार निषाद की सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने परिजनों को समझा-बुझाकर शांत कराया। मौत के जिम्मेदार लोगों पर कार्रवाई का आश्वासन देकर शव को पोस्टमार्टम के लिए एंबुलेंस में रखने के दौरान बड़ी संख्या में पहुंचे लोगों ने हंगामा शुरू कर दिया।

कुछ लोगों ने परिजनों और लोगों को गुमराह करते हुए कहा कि पुलिस मामले को हादसे का रूप दे रही है। यह जानकारी मिलते हुए भीड़ उग्र हो गई। इसके बाद धक्का-मुक्की करते हुए शव को एंबुलेंस से बाहर निकालने की कोशिश की। इस पर एसआई अनूप सिंह ने झूठी सूचना की बात कहते हुए उन्हें शांत होने की अपील की लेकिन वे मारपीट पर उतारू हो गए।

यहीं नहीं भीड़ के साथ घूंघट में पहुंचीं महिलाओं ने पुलिस कर्मियों से अभद्रता करते हुए चप्पल दिखाकर माहौल और बिगाड़ने की कोशिश की। इस दौरान कुछ ने जबरिया अस्पताल परिसर में घुसने की भी कोशिश की। हालात बिगड़ता देख मौके पर तैनात महिला पुलिस बल ने मोर्चा संभालते हुए किसी तरह स्थिति को काबू किया तो कुछ ने पथराव शुरू कर दिया। इससे अफरा-तफरी मच गई। पुलिस ने वीडियो रिकॉर्डिंग कर उपद्रवी महिलाओं की पहचान करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

भीड़ ने अस्पताल प्रशासन के खिलाफ की नारेबाजी
कुंज बिहारी की मौत की खबर पर पहुंचे परिजनों और मोहल्लेवालों ने डॉक्टरों पर गंभीर आरोप लगाए। उनका कहना था कि इलाज में लापरवाही के कारण कुंज बिहारी की जान गई है। भीड़ ने परिसर में अस्पताल प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। देखते ही देखते हालात बेकाबू हो गए और अस्पताल की खिड़कियों, दरवाजों और फर्नीचर में तोड़फोड़ की जाने लगी। अस्पताल प्रबंधन ने तत्काल पुलिस को सूचना दी।

गोरखनाथ थाना प्रभारी के साथ-साथ आसपास के कई थानों की फोर्स मौके पर पहुंची। पुलिस ने परिजनों और भीड़ को समझाने की कोशिश की लेकिन वे मानने को तैयार नहीं हुए। परिजन मांग कर रहे थे कि आरोपियों के घर पर बुलडोजर चलाया जाए और उन्हें तत्काल गिरफ्तार किया जाए। इस बीच आम आदमी पार्टी के जिलाध्यक्ष विजय श्रीवास्तव भी पहुंच गए।

भीड़ को तितर-बितर करने के लिए जब पुलिस ने हल्का बल प्रयोग किया तो मामला और बिगड़ गया। गुस्साई भीड़ ने पुलिस टीम पर ईंट-पत्थर बरसाना शुरू कर दिया। पथराव में गोरखनाथ थाना प्रभारी शशिभूषण राय का सिर फूट गया। वहीं एसआई रिषभ सिंह, अनूप सिंह व चिलुआताल थाने में तैनात एसआई हैप्पी सिंह को चोटें आईं। इधर अस्पताल के पास खड़े पांच अन्य राहगीर भी पथराव में घायल हो गए। साथी पुलिस कर्मियों ने घायल थाना प्रभारी को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां टांके लगाने के बाद उन्हें छुट्टी दे दी गई।

सीओ गोरखनाथ ने हालात को किया नियंत्रित
सर्किल की फोर्स व पीएसी के साथ मौके पर पहुंचे सीओ गोरखनाथ रवि सिंह ने हालात को नियंत्रित किया और परिजनों को शांत कराया। पुलिस ने मृतक के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया। आश्वासन दिया कि आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस पूरी गंभीरता से काम कर रही है और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।

मृतक कुंज बिहारी तीन भाई-बहनों में दूसरे नंबर पर थे। बड़े भाई मनोज निषाद और छोटे भाई-बहन सरोज हैं। पत्नी रिंकी देवी और बच्चे दिव्यांशु व अयांश का रो-रोकर बुरा हाल है। परिजनों ने आरोप लगाया कि एक ओर हमलावरों ने बेरहमी से हमला कर कुंज बिहारी की जान ली, दूसरी ओर अस्पताल ने समय पर उचित इलाज नहीं किया।

इलाके में तनाव, पुलिस तैनात
घटना के बाद अस्पताल व गांव में तनाव व्याप्त है। एहतियात के तौर पर अस्पताल के बाहर पुलिस तैनात कर दी गई है। वहीं प्रशासन लगातार स्थिति पर नजर रखे हुए है। मृतक कुंज बिहारी राजनीति से भी जुड़े रहे हैं। ऐसे में घटना ने राजनीतिक रंग भी ले लिया है। आम आदमी पार्टी से जुड़े स्थानीय नेताओं ने प्रशासन पर लापरवाही और अपराधियों को संरक्षण देने का आरोप लगाया है। वहीं, अन्य राजनीतिक दलों के नेताओं ने भी घटना की निंदा की और पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने की मांग की।

इलाके में तनाव, पुलिस तैनात
घटना के बाद अस्पताल व गांव में तनाव व्याप्त है। एहतियात के तौर पर अस्पताल के बाहर पुलिस तैनात कर दी गई है। वहीं प्रशासन लगातार स्थिति पर नजर रखे हुए है। मृतक कुंज बिहारी राजनीति से भी जुड़े रहे हैं। ऐसे में घटना ने राजनीतिक रंग भी ले लिया है। आम आदमी पार्टी से जुड़े स्थानीय नेताओं ने प्रशासन पर लापरवाही और अपराधियों को संरक्षण देने का आरोप लगाया है। वहीं, अन्य राजनीतिक दलों के नेताओं ने भी घटना की निंदा की और पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने की मांग की।

यह हुआ था विवाद
रामपुर नयागांव निवासी कुंजबिहारी निषाद अपने भाई मनोज कुमार निषाद के साथ बिल्डिंग मटेरियल की दुकान चलाते थे। बीते 23 अगस्त को उनका साला हेमंत गांव के पास मकान बनवा रहे अभिषेक से 4200 रुपये बकाया लेने के लिए भेजा था। जहां अभिषेक ने यह कहकर लौटा दिया कि दूसरे स्थान से सस्ता मटेरियल मिल रहा है। आरोप है कि कुंजबिहारी देर शाम जब रुपये मांगने गए तो अभिषेक पांडेय ने अपने पिता हिमालय पांडेय व 10–12 अन्य साथियों के साथ मिलकर उन्हें पीटकर घायल कर दिया। परिजन उन्हें उपचार के लिए पहले मेडिकल कॉलेज ले गए। इसके बाद उन्हें राजेंद्रनगर स्थित निजी अस्पताल में भर्ती कराया। जांच में पता चला कि कुंजबिहारी के सिर की हड्डियां फ्रेक्चर हो गईं और कई नशे क्षतिग्रस्त हो गई थीं। डॉक्टरों ने 24 अगस्त को ऑपरेशन किया था।

सादे कागज पर हस्ताक्षर कराने का आरोप
मृतक के भाई मनोज का आरोप है कि कुंज बिहारी की मौत की सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने उसकी पत्नी रिंकी से सादे कागज पर हस्ताक्षर करवाया। बाद में उसमें यह लिख दिया कि कुंजबिहारी सड़क हादसे में घायल हुआ था। हालांकि पुलिस ने परिजनों को दर्ज केस की कॉपी देते हुए झूठी सूचना होने की बात कही। इसके बाद परिजन लाउडस्पीकर से एनाउंसमेंट करते हुए लोगों से हंगामा न करने की अपील। लेकिन लोग उनकी अपीलों को दरकिनार करते हुए हंगामा करते रहे।

इन पर कुंज बिहारी ने दर्ज कराया था केस
मारपीट मामले में कुंज बिहारी ने दो नामजद समेत 12 से अधिक लोगों पर केस दर्ज कराया था। इसमें नामजद अभिषेक पांडेय, उसके पिता हिमालय पांडेय शामिल हैं। इसमें एक आरोपी सहजनवां निवासी अर्जुन को क्षेत्र से पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। उससे पूछताछ चल रही है।

हॉस्पिटल में युवक की मौत के बाद परिजन ग्रामीणों के साथ हंगामा कर रहे थे। उन्हें समझाकर शांत कराया गया। शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया गया है। कुंज बिहारी पर हमला करने के मामले में एक आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है। अन्य की तलाश चल रही है। बहुत जल्द आरोपियों को पकड़ लिया जाएगा।- अभिनव त्यागी, एसपी सिटी

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