आपदा प्रबंधन विभाग के वर्ष 2015 से 2024 तक के आंकड़े बताते हैं कि हर साल हजारों आपदा आ रही हैं। उत्तराखंड के पौड़ी जिले में सबसे ज्यादा प्राकृतिक आपदा आई हैं।
राज्य को नौ वर्षों में बड़ी संख्या में प्राकृतिक आपदाओं ने जख्म दिए हैं। अतिवृष्टि-त्वरित बाढ़ से लेकर बादल फटने जैसी घटनाएं हुई हैं। इसमें जानमाल का भारी नुकसान हुआ है। आपदा प्रबंधन विभाग राज्य में सड़क दुर्घटना, आग, भूस्खलन, भूकंप, बाढ़, कीट आक्रमण, हिमस्खलन, अतिवृष्टि-त्वरित बाढ़, व्रजपात, ओलावृष्टि, आंधी तूफान, डूबना, बहजाना, जंगली पशुओं का हमला, बादल फटना, वनाग्नि, बीमारी फैलना, विद्युत करंट, वनाग्नि की घटनाओं का विवरण तैयार करता है।इन घटनाओं में मृत्यु, घायल, लापता होने की सूचना एकत्र की जाती है। इसके अलावा मकानों के आंशिक और पूरी तरह क्षतिग्रस्त होने का रिकार्ड रखा जाता है। आपदा प्रबंधन विभाग के वर्ष 2015 से 2024 तक के आंकड़े बताते हैं कि हर साल हजारों आपदा आ रही हैं।
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