एक्साइज एंड टैक्सेशन कमिश्नर हरि कल्लिक्कट के आदेश पर ये टीम गठित की गई है। ये टीमें 22 सितंबर से शहर के हर वार्ड में चेकिंग करेंगी, ताकि शहर के व्यापारी अपने सामान का रेट बढ़ाकर लोगों को न बेच सकें।
ईटीसी हरि कल्लिक्कट ने बताया कि जीएसटी दरों में कटौती होने से कई चीजें व वस्तुएं सस्ती हो जाएंगी। ऐसे में हो सकता है कि व्यापारी व कारोबारी पुराने रेट के हिसाब से ही मुनाफा कमाने के लिए इन चीजों व वस्तुओं के रेट में इजाफा कर दें, जिससे की नए टैक्स स्लैब 5 और 18 प्रतिशत जीएसटी वसूल करने के बावजूद उन चीजों के वही दाम रहें, जो पुराने समय में थे। इसलिए 22 सितंबर से हर वार्ड में इसको लेकर ग्राउंड लेवल पर चेकिंग भी की जाएंगी।
जीएसटी परिषद के टैक्स रेट में कटौती करने का सीधा असर आम जनता, रोजमर्रा की जिंदगी में काम आने वाली चीजों और आवश्यक वस्तुओं पर पड़ेगा, जिससे लोगों को राहत मिलेगी। यही नहीं इसका सीधा असर व्यवसायों, विशेष रूप से सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) को सशक्त बनाएगा।
चेकिंग के लिए चार टीमें गठित
ईटीसी ने जो आदेश जारी किये हैं, उसके मुताबिक इन्फोर्समेंट चेकिंग ईटीओ के साथ चार इंस्पेक्टर पूरे शहर में चेकिंग करेंगे। इसके अलावा सेंट्रल, ईस्ट और साउथ के वार्ड के ईटीओ और उनके साथ-साथ एक-एक इंस्पेक्टर 22 सितंबर से जीएसटी दरों में नए बदलाव पर निगरानी रखेंगे। इसके साथ ही इन टीमों की यह जिम्मेदारी भी होगी कि व्यापारी सही टैक्स स्लैब के तहत लोगों को सामान बेचें और लोगों को सही बिल थमाया जाए। जीएसटी के रूप में प्रशासन को आने वाले राजस्व की आपूर्ति भी इन नए टैक्स स्लैब के मुताबिक सही तरीके से वसूल की जाए। विभाग के अधिकारियों की मानें तो केंद्र ने नए जीएसटी स्लैब स्ट्रक्चर के साथ ट्रेडर्स द्वारा ऑनलाइन रिटर्न फाइलिंग व टैक्स जमा कराने वाले सभी साफ्टवेयर भी अपडेट कर दिए हैं।