लखनऊ में दो दिन चले56वें पुलिस महानिदेशक/महानिरीक्षक सम्मेलन का समापन हो गया है। पीएम मोदी दोनों दिन इस सम्मेलन में शामिल हुए और कई अमूल्य सुझाव दिए। इस सम्मेलन में कई अफसरों को राष्ट्रपति पुलिस पदक भी दिए गए।
सम्मेलन से पहले ही कारागार सुधार,आतंकवाद, वामपंथी उग्रवाद, साइबर अपराध, नारकोटिक्स ट्रैफ़िकिंग, एनजीओ की विदेशी फंडिंग, ड्रोन संबंधी मुद्दे, सीमावर्ती गांवों का विकास जैसे राष्ट्रीय सुरक्षा से संबंधित महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा के लिए पुलिस महानिदेशकों के अनेक कोर ग्रुप गठित किए गए थे। सम्मेलन में देशभर के 62 महानिदेशक/महानिरीक्षक लखनऊ में शामिल हुए। इसके अलावा विभिन्न वरिष्ठता के 400 से ज़्यादा अफसरों ने देश भर में मौजूद सूचना ब्यूरो कार्यालयों से वर्चुअल तौर पर इसमें हिस्सा लिया।
प्रधानमंत्री ने सम्मेलन के दौरान कई चर्चाओं में भाग लिया तथा अपने अमूल्य सुझाव दिए। उन्होंने समापन संबोधन में सभी पुलिस संबंधित घटनाओं के विश्लेषण तथा सीखने की इस प्रक्रिया को संस्थागत करने पर बल दिया। उन्होंने सम्मेलन को हाइब्रिड प्रारूप में करवाने की भरपूर प्रशंसा की और कहा कि इससे विभिन्न स्तर के अधिकारियों के बीच सूचनाओं का प्रवाह सुगम हुआ है। उन्होंने देश भर की पुलिस फोर्स के लाभ के लिए inter-operable तकनीक के विकास पर ज़ोर दिया। उन्होंने गृह मंत्री के नेतृत्व में एक हाई पावर पुलिस टेक्नालजी मिशन गठित करने के लिए कहा ताकि भविष्य की तकनीकों को जमीनी स्तर की पुलिस आवश्यकताओं के हिसाब से ढाला जा सके। सामान्य लोगों के जीवन में तकनीक के महत्व को रेखांकित करने के लिए प्रधानमंत्री ने Cowin,GeM और UPI के उदाहरण दिए। उन्होंने कोविड महामारी के बाद पुलिस के व्यवहार में जनता के प्रति आए सकारात्मक बदलाव की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि ड्रोन तकनीक का उपयोग लोगों के लाभ के लिए किया जाना चाहिए। उन्होंने 2014 में लागू किए गए SMART पुलिसिंग की नियमित समीक्षा के लिए कहा और उसमें लगातार बदलाव लाने और उसे संस्थागत करने पर बल दिया। पुलिस की रोज़मर्रा के समस्या के समाधान के लिए उन्होने उच्च तकनीकी शिक्षा प्राप्त युवाओं को जोड़ने के लिए कहा ताकि hackathon के माध्यम से तकनीकी समाधान ढूँढे जा सकें।
प्रधानमंत्री ने आसूचना ब्यूरो के कर्मियों को विशिष्ट सेवा के लिए राष्ट्रपति पुलिस पदक प्रदान किए। पहली बार प्रधानमंत्री के निर्देश पर अनेक राज्यों के IPS अधिकारियों ने समसामयिक सुरक्षा मुद्दों पर अपने लेख प्रस्तुत किए, जिससे इस सम्मेलन का महत्व और बढ़ गया।
इससे पूर्व,19 नवंबर को माननीय गृह मंत्री ने इस सम्मेलन का उदघाटन किया था, जहां उन्होंने देश के तीन सर्वश्रेष्ठ पुलिस थानों को ट्रॉफी देकर सम्मानित किया था। माननीय गृह मंत्री सभी बैठकों में शामिल रहे और उन्होंने अपना बहुमूल्य सुझाव और मार्गदर्शन दिया।