लखनऊ। विधानसभा चुनाव में हार का सामना करने वाले पूर्व मंत्रियों विधायकों और पार्टी के दिग्गज नेताओं को भाजपा संगठन और सरकार में प्रमुख स्थान दिया जाएगा
कार्यकर्ताओं का हौसला बनाए रखने के लिए पार्टी ने लिया निर्णय
- केशव प्रसाद मौर्य
- सुरेश राणा
- राजेंद्र प्रताप सिंह
- मोती सिंह
- डॉक्टर सतीश द्विवेदी
- आनंद स्वरूप शुक्ला
- छत्र पाल गंगवार
- चंद्रिका प्रसाद उपाध्याय
- लाखन सिंह राजपूत
- संगीत सोम
- राघवेंद्र प्रताप सिंह
- नरेश सैनी
- हरिओम यादव
- रामवीर उपाध्याय
- अमरपाल मोर
- सलिल बिश्नोई भी चुनाव हारे हैं
पार्टी का मानना है कि त्रिकोणीय मुकाबले या जातीय समीकरण में यह प्रमुख से हरे भले ही चुनाव हार गए लेकिन उनका अपने समाज और क्षेत्र में प्रभुत्व है इनका उपयोग करने के लिए उन्हें संगठन राज्य सभा निगम आयोग और बोर्ड में जगह दी जाएगी इनमें से कुछ नेताओं को विधान परिषद भी भेजा जा सकता है विधान परिषद में मनोनीत कोटे की 6 सीटों का मनोनयन और विधान परिषद की 13 सीटों पर चुनाव इसी साल होना है फरवरी 2023 में स्नातक और शिक्षक क्षेत्र की 5 सीटों के भी चुनाव हैं परिषद की इन सीटों पर पार्टी के सभी प्रमुख पदाधिकारी समायोजित किए जाएंगे
स्थानीय प्राधिकारी क्षेत्र की 36 सीटों पर हो रहे चुनाव में भी पार्टी ने करीब 25 सीटों पर पुराने कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों को मौका दिया है पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व ने निर्णय लिया है कि हारे हुए मंत्रियों और विधायकों को संगठन और सरकार में स्थान दिया जाएगा
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