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प्रधानी चुनाव की रंजिश में कराया विवाद, एसपी सिटी बोले- बख्शे नहीं जाएंगे माहौल बिगाड़ने वाले

इज्जतनगर थाना क्षेत्र के गांव खजुरिया जुल्फिकार में मंगलवार हुए विवाद की वजह प्रधानी चुनाव की रंजिश बताई जा रही है। माना जा रहा है कि उर्स निपटने के बाद पुलिस खुराफातियों पर कार्रवाई कर सकती है। जानिए क्या था पूरा घटनाक्रम….

बरेली के इज्जतनगर थाना क्षेत्र के गांव खजुरिया जुल्फिकार में चादर जुलूस को लेकर बखेड़ा हो गया। उर्स-ए-रजवी में चादर लेकर जा रहे लोगों को मंगलवार दोपहर बाद ग्रामीणों ने नई परंपरा बताकर रोक दिया। पुलिस ने लाठियां फटकारकर भीड़ को खदेड़ा व जुलूस निकलवा दिया। तब ग्रामीणों ने नारेबाजी करते हुए चौकी प्रभारी समेत पुलिसकर्मियों को दौड़ा लिया। पुलिस अफसरों ने बताया कि लिखित सहमति के बावजूद प्रधानी चुनाव की रंजिश में माहौल बिगाड़ने की कोशिश की गई। माहौल बिगाड़ने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।

खजुरिया जुल्फिकार गांव से होकर चादर जुलूस जा रहा था। गांव के एक समुदाय के लोगों ने इसे नई परंपरा बताकर हंगामा शुरू कर दिया। इस पर जुलूस के पीछे चल रही पुलिस टीम सामने आ गई और ग्रामीणों से तीखी बहस हुई। इसके बाद पुलिस ने लाठियां फटकारकर भीड़ को खदेड़ा और जुलूस आगे बढ़वा दिया। इससे गुस्साए ग्रामीणों ने बैरियर टू चौकी प्रभारी शिवकुमार मिश्रा समेत मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों को घेर लिया।

भीड़ नारेबाजी कर रही थी कि इन पुलिसवालों ने दूसरे पक्ष से मोटी रकम लेकर गांव से नई परंपरा डलवाने की कोशिश की है। यह भी कहा कि भाजपा सरकार होने के बावजूद लोग पुलिस के डंडों का शिकार हो रहे हैं। पुलिस पर लाठीचार्ज करने और बच्चों तक को पीटने का आरोप लगाया। कहा कि अन्याय के खिलाफ वह चुप नहीं बैठेंगे। आरोप लगाया कि लोगों को समझाने की कोशिश कर रहे पूर्व प्रधान को भी पुलिस ने दूसरे पक्ष के उकसावे पर लाठी मारी है। 

सीओ ने शांत कराया, गांव में पुलिस तैनात
पुलिसकर्मियों के घेराव व गाली-गलौज का वीडियो बनाकर किसी ने सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। इसके बाद शहर में अफवाहों का बाजार गर्म हो गया। सूचना पर सीओ तृतीय पंकज श्रीवास्तव मौके पर पहुंचे और हंगामा कर रहे लोगों से बात की। आक्रोशित लोग फिलहाल शांत हो गए। एहतियात के तौर पर गांव में पुलिस बल तैनात किया गया है। बताया जा रहा है कि उर्स निपटने के बाद पुलिस कार्रवाई कर सकती है। खुराफाती मौके के वीडियो के जरिये चिह्नित कर लिए जाएंगे।

हर साल होता है विवाद 
खजुरिया गांव में ज्यादातर हिंदू आबादी है, लेकिन दूसरे गांव से जब चादरों का जुलूस शहर की ओर जाता है तो यहां हर साल विवाद होता है। ग्रामीणों का कहना है कि वर्ष 2023 से पहले कभी चादर का जुलूस उनके गांव से नहीं निकला था। वर्ष 2023 में कुछ बच्चों ने चादर का जुलूस निकाला तो उन लोगों ने इसका विरोध किया था। इसके बाद दोनों पक्षों में समझौता हो गया था कि आगे से जब भी जुलूस निकलेगा तो गांव की सीमा के बाहर जाकर ही चादर खोली जाएगी। इस बार दूसरे समुदाय के लोगों ने इज्जतनगर थाने में चादर जुलूस के लिए अनुमति मांगी तो पुलिस ने सहमति दे दी।

बख्शे नहीं जाएंगे माहौल बिगाड़ने वाले- एसपी सिटी
एसपी सिटी मानुष पारीक ने बताया कि जुलूस को लेकर दोनों पक्षों में पहले ही लिखित समझौता हो गया था। चादर खोलने के स्थान पर विवाद करने की कोशिश की गई। लोगों को समझा दिया है। मौके पर पुलिस बल तैनात है। गांव में एक ही समुदाय के प्रधान और पूर्व प्रधान हैं। दोनों के बीच चुनावी प्रतिद्वंद्विता रहती है। इसी वजह से मामले को तूल देने की कोशिश की गई। माहौल बिगाड़ने वालों पर कार्रवाई की जाएगी। अगर कोई लिखित शिकायत मिलेगी तो उसकी भी जांच कर कार्रवाई की जाएगी।

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